नयी दिल्ली, 26 मार्च ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस (जीकेसी) ने महान कवियित्री, सुविख्यात लेखिका, पद्म विभूषण और पद्म भूषण सम्मान से अंलकृत महादेवी वर्मा की जयंती 26 मार्च के अवसर पर महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान समारोह – 2022 का आयोजन किया, जिसमें अलग-अलग क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देने वाली 27 विभूतियों को महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान से सम्मानित किया गया।
जीकेसी की प्रबंध न्यासी श्रीमती रागिनी रंजन की अध्यक्षता में स्व. महादेवी वर्मा की जयंती के अवसर पर सत्याग्रह मंडप, गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति, राजघाट, नई दिल्ली परिसर में महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान समारोह – 2022 का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की शुरूआत दीप प्रज्जवलन, भगवान गणपति और भगवान चित्रगुप्त चित्र पर पुष्प अर्पित कर की गयी। इसके बाद इसके बाद राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और महादेवी वर्मा के चित्र पर पुष्प अर्पित किया गया। श्रीमती जया श्रीवास्तव ने भजन वैष्णव जन तो तैनी कहिये गीत पेश किया। इस अवसर पर बतौर मुख्य अतिथि संदीप मारवाह, सुमन कुमार, ज्ञानेन्द्र रावत, प्रिया मल्लिक और माया कुलश्रेष्ठ निगम मौजूद थी, जिन्हें मोमेंटो, पुष्पगुच्छ और अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया गया। जीकेसी दिल्ली के प्रदेश अध्यक्ष सुनील कुमार ने स्वागत भाषण दिया। कार्यक्रम का मंच संचालन प्रतिष्ठा श्रीवास्तव ने किया।
इस अवसर पर जीकेसी के ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद ने बताया कि जीकेसी कायस्थ समाज के शैक्षणिक, आर्थिक, सांस्कृतिक विकास के साथ-साथ उनके उत्थान के लिए प्रयासरत है। इसी के तहत प्रख्यात लेखिका एवं उपन्यासकार स्व. महादेवी वर्मा की जयन्ती के अवसर पर महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान-2022 ,समाज के लिए अपने अमूल्य योगदान देने वाली 27 विभूतियों को दिया गया है। उन्होने बताया कि महादेवी वर्मा छायावादी युग की प्रमुख कवयित्री मानी जाती हैं। आधुनिक हिंदी साहित्य में महादेवी वर्मा मीराबाई के नाम से प्रसिद्ध हुईं। आधुनिक गीत काव्य में महादेवी वर्मा जी का स्थान सर्वोपरि रहा तथा उन्होंने एक गद्य लेखिका के रूप में भी अपनी ख्याति प्राप्त की।आधुनिक हिन्दी की सबसे सशक्त कवयित्रियों में से एक होने के कारण उन्हें आधुनिक मीरा के नाम से भी जाना जाता है।महादेवी वर्मा जी एक मशूहर कवियित्री तो थी, इसके साथ ही वे एक महान समाज सुधारक भी थीं।
जीकेसी के ग्लोबल महासचिव अनुराग सक्सेना ने बताया कि सुप्रसिद्ध कलाकार अंजन श्रीवास्तव और रमेशचंद्र श्रीवास्तव को लाइफ टाइम अचीवमेंट सम्मान दिया गया है। उन्होंने बताया कि सामाजिक कार्य के क्षेत्र में डा. नम्रता आनंद, अविलाला श्रीधर, अलका श्रीवास्तव, अनुज श्रीवास्तव, पत्रकारिता के क्षेत्र में कमल किशोर, राजीव रंजन और प्रेम कुमार, शोध एवं लेखन के क्षेत्र में उदय सहाय, विवेक भटनागर, संगीत के क्षेत्र में श्रुति सिन्हा, डा. रंजन कुमार, देवांश चंद्रा, शालिनी श्रीवास्तव, सुबोध नंदन सिन्हा, जया श्रीवास्तव, श्रेया बसु, उत्कृष्ठ शैक्षिक योगदान के लिए प्रो. (डा.) वीके श्रीवास्तव, साहित्य के क्षेत्र में आलोक श्रीवास्तव, अलका सिन्हा, लक्ष्मी नारायण भटनागर, चित्रकला के क्षेत्र में सुभद्रा देवी, एमएसएमई के क्षेत्र में रवि नंदन सिन्हा, और फिल्म के क्षेत्र में अशोक सक्सेना, पवन सक्सेना, दीप श्रेष्ठ, को इस बार यह सम्मान दिया गया है। उन्होंने ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस के विकास यात्रा की जानकारी दी तथा जीकेसी के उद्देश्य को भी सबके सामने रखा। जीकेसी कायस्थ समाज परिवर्तन के दूरगामी लक्ष्य को साधने के लिये कमर कस कर खड़ा है। महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान समारोह इसी लक्ष्य की दिशा में एक कदम है।
जीकेसी की प्रबंध न्यासी श्रीमती रागिनी रंजन ने बताया कि प्रख्यात कवयित्री महादेवी वर्मा की गिनती हिन्दी कविता के छायावादी युग के चार प्रमुख स्तंभ सुमित्रानंदन पंत, जयशंकर प्रसाद और सूर्यकांत त्रिपाठी निराला के साथ की जाती है। महादेवी वर्मा एक महान कवयित्री होने के साथ-साथ हिंदी साहित्य जगत में एक बेहतरीन गद्द लेखिका के रूप में भी जानी जाती हैं। महादेवी वर्मा एक ऐसी लेखिका थी, जिन्होंने अपनी कलम से समाज के दबे-कुचले वर्ग के दर्द को उकेरा। उन्होंने समाज के सामने शोषित वर्ग की कठिनाइयों को अपने शब्दों में बयान किया.
इस अवसर पर श्री आलोक अवरिल ने विचार मंथन पेश किया, वहीं शालिनी बैरागी, देवांश चंद्रा ने पार्श्वगायन जबकि डा. सुमित्रा दत्त राय ने कत्थक नृत्य पर लाजवाब प्रस्तुति दी। जीकेसी के ग्लोबल उपाध्यक्ष आनंद सिन्हा ने धन्यवाद ज्ञापन दिया और सभी सम्मानित लोगों को बधाई एवं शुभकामना दी। उन्होंने कहा, महादेवी वर्मा जी एक मशूहर कवियित्री तो थी, इसके साथ ही वे एक महान समाज सुधारक भी थीं।महादेवी वर्मा एक ऐसी लेखिका थी, जिन्होंने अपनी कलम से समाज के दबे-कुचले वर्ग के दर्द को उकेरा। उन्होंने समाज के सामने शोषित वर्ग की कठिनाइयों को अपने शब्दों में बयान किया। महादेवी वर्मा ने गद्य, काव्य, शिक्षा और चित्रकला सभी क्षेत्रों में नए आयाम स्थापित किए।जिन्होंने साहित्य के जरिए समाज में नई चेतना और ऊर्जा जगाई.।राष्ट्रगीत के साथ ही कार्यक्रम का समापन हुआ।
इस अवसर पर नवीन कुमार,सुबाला वर्मा, ई० सुनील कुमार ,राजीव कांत
शुभ्रांशु श्रीवास्तव,प्रजेश शंकर,
शालिनी सिन्हा,राज कुमार,
दिवाकर कुमार वर्मा , नवीन श्रीवास्तव
रजनी श्रीवास्तव,अभय सिन्हा
राकेश अम्बस्था, सुनील श्रीवास्तव
हीरालाल कर्ण,नीतिन माथुर,
दीपांशु श्रीवास्तव, सतीश श्रीवास्तव
नरेन्द्र कुमार अम्बस्था, शिल्पी बहादुर अजय अमृतराज समेत कई गणमान्य लोग मौजूद थे।
ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस ने 27 विभूतियों को दिया महादेवी वर्मा स्मृति सम्मान
More Stories
Big News | Karmdeep Samman 2025 | Sanghamitra Tai Gaikwad Honored with ‘Karmdeep Samman’ by Veteran Actor Raza Murad
Big News | Karmdeep Samman 2025 | Sanghamitra Tai Gaikwad Honored with ‘Karmdeep Samman’ by Veteran Actor Raza Murad
What Alimony? Samantha Ruth Prabhu Walked Away With Her Dignity, Not ₹200 Crore